
नई दिल्ली: बिहार में मतदाता सूची से जुड़ा बड़ा अपडेट सामने आया है। भारतीय चुनाव आयोग (ECI) ने 51 लाख वोटरों के नाम राज्य की मतदाता सूची से हटाने का निर्णय लिया है। यह फैसला Special Intensive Revision (SIR) 2025 के तहत लिए गए परीक्षण और निरीक्षण के आधार पर किया गया है, जिसमें बड़ी संख्या में फर्जी, दोहराए गए, मृतक और अन्यत्र स्थानांतरित मतदाताओं के नाम सामने आए हैं। चुनाव आयोग द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है कि बिहार में चल रही विशेष पुनरीक्षण प्रक्रिया (SIR) के दौरान करीब 18 लाख मृतकों के नाम, 26 लाख स्थानांतरित मतदाता, और 7 लाख दोहरे नाम पाए गए हैं। इन सभी को मिलाकर 51 लाख नामों को मतदाता सूची से हटाने की प्रक्रिया शुरू की जा रही है।
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1 अगस्त को आएगी नई ड्राफ्ट लिस्ट
ECI ने स्पष्ट किया है कि 1 अगस्त 2025 को पात्र मतदाताओं की एक ड्राफ्ट लिस्ट जारी की जाएगी। इस सूची में उन सभी लोगों को शामिल किया जाएगा जो जीवित हैं, बिहार में निवास करते हैं और जिनका वोटर पंजीकरण सही है।

राजनीतिक दलों से साझा की गई जानकारी
चुनाव आयोग ने बताया कि इस विशेष पुनरीक्षण अभियान के तहत सभी 12 प्रमुख राजनीतिक दलों के ज़िला अध्यक्षों के साथ समन्वय स्थापित किया गया है। उन्हें उन 52.30 लाख मतदाताओं की सूची सौंपी गई है जिनके नाम या तो दोहराए गए हैं, जो स्थानांतरित हो चुके हैं या जिनकी मृत्यु हो चुकी है।
👥 BLO और वॉलंटियर्स की बड़ी टीम सक्रिय
बिहार में करीब 1 लाख BLO (Booth Level Officers), 4 लाख वॉलंटियर्स और 1.5 लाख BLA (Booth Level Agents) इस काम में लगे हुए हैं ताकि हर सही मतदाता सूची में बना रहे और फर्जी नाम हटाए जा सकें। वे उन मतदाताओं की तलाश में हैं जो या तो गणना फॉर्म (EF) नहीं भर पाए हैं या अपने पते पर उपलब्ध नहीं पाए गए।
आम जनता दर्ज करा सकती है आपत्तियां
चुनाव आयोग ने यह भी घोषणा की है कि 1 अगस्त से 1 सितंबर 2025 तक, आम जनता नाम जोड़ने, हटाने या सुधार के लिए आपत्तियां दर्ज करा सकती है। यह प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी और तकनीक आधारित होगी।
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