
पिथौरागढ़, उत्तराखंड: Uttarakhand में भारी बारिश ने एक बार फिर विकराल रूप धारण कर लिया है, जिससे जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। पिथौरागढ़ जनपद की पांच तहसीलों में लगातार वर्षा का कहर जारी है, खासकर धारचूला और तेजम तहसील क्षेत्रों में स्थिति गंभीर बनी हुई है। चीन सीमा से लगने वाले क्षेत्रों का सोमवार को तीसरे दिन भी संपर्क भंग रहा, जिससे सीमावर्ती गांवों में परेशानी बढ़ गई है।
प्रमुख सड़कें बंद, दर्जनों गाँव अलग-थलग: बारिश के कारण प्रमुख मार्ग जैसे तवाघाट-लिपुलेख, तवाघाट-सोबला, दारमा और मुनस्यारी-मिलम बंद हो गए हैं। इन मार्गों के अवरुद्ध होने से पांच दर्जन से अधिक गांवों का संपर्क कट गया है, जिससे स्थानीय लोगों को आवागमन में भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। https://kainchinews.in/90000-crore-stuck-in-epfo-top-economist-sanjeev-sanyal-exposes-system-flaws/
यातायात पर पड़ा व्यापक असर:
- टनकपुर-तवाघाट हाईवे अस्कोट और जौलजीबी के बीच लखनपुर के पास भूस्खलन के कारण पांच घंटे तक बंद रहा।
- जौलजीबी-मुनस्यारी मार्ग छह घंटे और थल-मुनस्यारी मार्ग आठ घंटे तक अवरुद्ध रहा।
धारचूला में बाढ़ जैसे हालात: अतिवृष्टि के चलते धारचूला के सोबला में एक नाले का पानी बाजार तक आ गया। इससे होटलों, दुकानों और मकानों के सामने रखा सामान बह गया। रात भर गांव में दहशत का माहौल बना रहा।

तीर्थयात्री फंसे, पुलिस ने की मदद: धारचूला तहसील में लिपुलेख मार्ग बंद होने से कुटी, नाबी और बडानी में पूजा के लिए जा रहे 40 से अधिक ग्रामीण गस्कू के पास फंस गए। मार्ग न खुलने पर वे पैदल ही पांगला पहुंचे, जहां पांगला थाना पुलिस ने 30 लोगों को अपने वाहन से सुरक्षित स्थान पर पहुँचाया और उनके भोजन व रहने की व्यवस्था की। फंसे हुए वाहन चालकों को भी भोजन नसीब नहीं हुआ। सोबला-दारमा मार्ग पर तो सड़क पर ही झरना बहने लगा, जिससे स्थिति और भी भयावह हो गई।
मुनस्यारी में भी जनजीवन अस्त-व्यस्त: मुनस्यारी तहसील में चीन सीमा को जोड़ने वाला मुनस्यारी-मिलम मार्ग बंद होने से चीन सीमा का संपर्क भंग रहा। होकरा-नामिक सड़क भी कई स्थानों पर ध्वस्त होने और मलबा गिरने से बंद है। होकरा में भूस्खलन से इंद्र सिंह और बलवंत सिंह के आवासीय मकान खतरे की जद में आ गए हैं। https://www.facebook.com/share/r/16uuya2fXh/
उत्तराखंड में मानसून का यह रौद्र रूप कब तक जारी रहेगा, यह देखना होगा। प्रशासन लगातार मार्गों को खोलने और प्रभावितों तक मदद पहुँचाने का प्रयास कर रहा है।
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